सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सैलरी कितनी होती है?

Software Engineer ki salary kitni hoti hai: सॉफ्टवेयर इंजीनियर हमारे देश में एक उभरता हुआ करियर विकल्‍प माना जा रहा है। आज के युवा आमतौर पर ज्‍यादा सैलरी की चाहत में सॉफ्टवेयर इंजीनियर ही बनना चाहते हैं। उनका मानना होता है कि यदि वो भविष्‍य में सॉफ्टवेयर इंजीनियर बन जाते हैं। तो हर महीने लाखों रूपए की सैलरी लेंगे। साथ ही नौकरी भी आसानी से मिल जाएगी।

लेकिन ऐसा वो केवल इसलिए सोचते हैं कि क्‍योंकि उन्‍हें पता नहीं होता है कि सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सैलरी कितनी होती है। इसलिए यदि आप भी नहीं जानते हैं कि सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सैलरी कितनी होती है। तो हमारे इस लेख को अंत तक पढि़ए। अपने इस लेख में हम आपको सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सैलरी के बारे में पूरी जानकारी देंगे।

सॉफ्टवेयर इंजीनियर क्‍या होता है?

सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सैलरी के बारे में हम आपको जानकारी दें इससे पहले आइए आपको जानकारी देते हैं कि सॉफ्टवेयर इंजीनियर क्‍या होता है। तो हम आपको बता दें कि आप आज के समय में जो भी फोन, लैपटॉप या स्‍मार्ट वॉच (Smart Watch) पहनते हैं। उन सभी चीजों के अंदर एक सॉफ्टवेयर लगा होता है। जो कि उसे चलाने में मदद करता है। आम भाषा में सॉफ्टवेयर ही उन चीजों की दिमाग होता है।

यदि किसी भी चीज से सॉफ्टवेयर निकाल लिया जाए तो समझिए कि उस चीज का दिमाग निकाल लिया गया है। संभवत: अब वो चीज किसी भी काम की नहीं रह गई है। ठीक उसी तरह जैसे इंसान अपने दिमाग के बिना कुछ नहीं रह जाता है।

सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सैलरी

सैलरी तय करने वाले मानक

  • सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सैलरी तय करने में सबसे पहली भूमिका उसकी शिक्षा की होती है। यदि उसने अच्‍छी पढ़ाई कर रखी है। तो जाहिर सी बात है कि उसे अच्‍छी सैलरी मिलेगी।
  • सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सैलरी तय करने में उसके काम करने की ललक भी काफी अहम होती है। यदि वो मन से काम करना चाहता है तो उसे अच्‍छी सैलरी दी जाएगी।
  • सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सैलरी में उसका अनुभव काफी अहम होता है। हमेशा अनुभवी आदमी को फ्रैशर की तुलना में ज्‍यादा सैलरी दी जाती है।
  • सॉफ्टवेयर के क्षेत्र में कई बड़ी कंपनी अपने कर्मचारियों को ज्‍यादा सैलरी देती है। इसलिए यदि आप किसी मल्‍टी नैशनल कंपनी में काम करते हैं तो आपको काफी ज्‍यादा सैलरी मिलेगी।

सॉफ्टवेयर इंजीनियर की शुरूआती सैलरी?

सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सैलरी में यदि हम शुरूआती सैलरी की बात करें तो यह इस बात पर निर्भर करती है कि आपने अपनी पढ़ाई कहां से पूरी की है। साथ ही आपने किस तरह की डिग्री पूरी की है। लेकिन यदि हम कम से कम सैलरी भी मानकर चलें तो एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर को 20 से 30 हजार रूपए अवश्‍य दिए जाते हैं। भले ही फिर उसने कोई छोटी या बड़ी डिग्री क्यों ना कर रखी हो।

अनुभव के बाद सैलरी?

इसके बाद यदि आपको बतौर सॉफ्टवेयर इंजीनियर काम करते कुछ साल हो जाते हैं तो आपकी सैलरी भी उसी हिसाब से बढ़ती रहती है। क्‍योंकि आपके अंदर काम करने का और ज्‍यादा कौशल आने लगता है। इसलिए यदि हम कहें कि जब आपके पास 5 से 8 साल का अनुभव आ जाता है तो आपको किसी भी कंपनी में 55 से 65 हजार रूपए सैलरी आराम से मिल जाएगी। बस आप सही मायने में काम करने के इच्‍छुक हों। लेकिन यदि आपको अनुभव के बाद भी काम करना नहीं आता है तो आपको इतनी सैलरी कोई नहीं देगा।

मल्‍टीनैशनल कंपनी में सैलरी?

यदि हम किसी मल्‍टीनैशनल कंपनी में सॉफ्टवेयर इंजीनियर की शुरूआती सैलरी की बात करें तो वह शुरूआत ही 40 हजार से होती है। जबकि यदि आपको कुछ साल का अनुभव हो जाता है तो आपकी सैलरी 1 लाख रूपए तक हो जाती है। जो कि काफी अच्‍छी मानी जाती है। लेकिन यहां हम आपको एक और जानकारी दे दें कि मल्‍टी नैशनल कंपनी देश में केवल नाममात्र ही हैं। इसलिए वहां की चयन प्रक्रिया भी काफी कठिन होती है।

सरकारी नौकरी में सैलरी?

अंत में यदि हम किसी सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सरकारी नौकरी में सैलरी की बात करें तो यहां शुरूआत में आपको 40 से 45 हजार रूपए दी जाती है। जबकि यह बढ़ते बढ़ते अंत में डेढ़ लाख रूपए तक चली जाती है। जो कि काफी अच्‍छी मानी जाती है। हालांकि, तमाम राज्‍य सरकारों में यह थोड़ी बहुत ऊपर नीचे भी होती रहती है।

लेकिन सरकारी नौकरी में सॉफ्टवेयर इंजीनियर की चयन प्रक्रिया प्राइवेट नौकरी से काफी अलग रहती है। इसलिए हर कोई सरकारी विभाग में सॉफ्टवेयर इंजीनियर नहीं बन सकता है। यही वजह है कि ज्‍यादातर लोग आपको प्राइवेट सेक्‍टर में बतौर सॉफ्टवेयर इंजीनियर के तौर पर लोग काम करते मिलेंगे। साथ ही कई बार तो ये भी देखा जाता है कि काम करने के जुनूनी लोग प्राइवेट सेक्‍टर में भी सरकारी नौकरी से ज्यादा सैलरी ले रहे होते हैं।

विदेश में नौकरी करने पर सैलरी?

यदि आप बतौर सॉफ्टवेयर इंजीनियर किसी विदेशी कंपनी में नौकरी करते हैं तो आपकी सैलरी काफी ज्‍यादा हो सकती है। हालांकि, यह सैलरी इस बात से तय होती है कि आप किस देश की कंपनी में नौकरी कर रहे हैं। लेकिन फिर भी किसी भी विदेशी कंपनी में आपको हर महीने भारत की करेंसी में 2 से 3 लाख रूपए तनख्‍वाह आराम से दे दी जाती है। जो कि कई बार महीने की 8 से 10 लाख रूपए तक चली जाती है।

FAQ

सॉफ्टवेयर इंजीनियर कौन होता है?

सॉफ्टवेयर इंजीनियर एक तरह के आपके फोन या लैपटॉप के ‘दिमाग’ का मिस्‍त्री होता है। क्‍योंकि ये चीजें सॉफ्टवेयर के ऊपर ही काम करती हैं।

साफ्टवेयर इंजीनियर की सैलरी कितनी होती है?

सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सैलरी इस बात से तय होती है कि उसके पास काम करने का कितना ज्ञान है। इसलिए किसी भी इंसान के पास काम करने का जितना बेहतर अनुभव होगा उसे उतनी ही ज्‍यादा सैलरी दी जाएगी।

सॉटवेयर इंजीनियर के क्षेत्र में नौकरी कैसे मिलती है?

किसी भी सॉफ्टवेयर कंपनी में नौकरी पाने के लिए जरूरी है आपने उससे जुड़ी पढ़ाई पूरी कर रखी हो। साथ ही आप काम करने के योग्य हों। इसके बाद आप वहाँ की चयन प्रक्रिया देखकर आवेदन कर सकते हैं।

ज्‍यादा सैलरी के लिए क्‍या करना चाहिए?

किसी भी सॉफ्टवेयर इंजीनियर को ज्‍यादा सैलरी के लिए हमेशा नई नई चीजें सीखते रहनी चाहिए। ताकि हमेशा उसके काम में निखार आता रहे और हर कोई अपने काम पर उसे ही रखना चाहे।

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Conclusion

आशा है कि अब आप समझ गए होंगे कि सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सैलरी कितनी होती है। इसे जानने के बाद आप समझ सकते हैं कि हर इंसान की सैलरी उसकी क्षमता के हिसाब से दी जाती है। इसलिए यदि आप सॉफ्टवेयर इंजीनियर बनना चाहते हैं तो आपको हमेशा खूब सारी मेहनत करनी चाहिए। क्‍योंकि बिना मेहनत किए तो शायद आपको कोई 10 हजार रूपए की नौकरी पर भी नहीं रखना चाहेगा। इसलिए सैलरी देखने के साथ आप ये भी देखें कि आपने उसके लिए कितनी मेहतन की है।

उम्र में युवा और तजुर्बे में वरिष्ठ रोहित यादव हरियाणा के रहने वाले हैं। पत्रकारिता में डिग्री रखने के साथ इन्होंने अपनी सेवाएं कई मीडिया संस्थानों को दी हैं। फिलहाल ये पिछले लंबे समय से अपनी सेवाएं 'All in Hindi' को दे रहे हैं।

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